रिपोर्ट में बदहाली का सच, जुलाई-सितंबर के बीच घरों की बिक्री 25% लुढ़की!

Oct 18, 2019

रिपोर्ट में बदहाली का सच, जुलाई-सितंबर के बीच घरों की बिक्री 25% लुढ़की!

भारत के प्रमुख रियल्टी बाजारों में प्रोजेक्ट लॉन्च की वर्तमान वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में भी गिरावट जारी रही. रियल एस्टेट डेवलपर्स ने घरों बिक्री में गिरावट को रोकने की कोशिश की. लेकिन उसमें पूरी तरह सफलता हासिल नहीं कर पाए. प्रॉपटाइगर डॉट कॉम की एक रिपोर्ट में यह बातें सामने आई हैं. प्रॉपटाइगर डॉट कॉम एलारा टेक्नोलॉजिस का हिस्सा है.

दरअसल प्रॉपटाइगर डेटा लैब्स की ओर से भारत के 9 प्रमुख रियल्टी बाजारों का एक तिमाही विश्लेषण के बाद यह आंकड़ा पेश किया गया है. रिपोर्ट के मुताबिक देश में लॉन्च किए गए प्रोजेक्ट की वित्त वर्ष 2019-20 (FY20) की जुलाई-सितंबर तिमाही में पिछले साल इसी तिमाही के मुकाबले 45% की गिरावट आई. जबकि पिछले वित्त वर्ष की तुलना में घर की बिक्री भी 25% कम हुई.

रियल एस्टेट सेक्टर अब भी बदहाल

रिपोर्ट में कहा गया है कि तिमाही-दर-तिमाही (Q1FY20 बनाम Q2FY20) में भी गिरावट देखी गई. इस दौरान नए लॉन्च में 32% की गिरावट आई और घरों की बिक्री में 23% की गिरावट आई. वित्त वर्ष 19 और वित्त वर्ष 20 की पहली छमाही के बीच संख्याओं की तुलना में भी घर की बिक्री और नए लॉन्च में साफतौर पर गिरावट देखने को मिली है.

वित्त वर्ष 19 की पहली छमाही में 170,715 इकाइयों की बिक्री की तुलना में, वित्त वर्ष 20 में केवल 151764 इकाइयां बेची गईं, जिसमें 11 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई. इसी तरह, वित्त वर्ष 19 के पहले छह महीनों में 137,146 नई इकाइयों के लॉन्च हुई थी, वहीं वित्त वर्ष 20 के पहले छह महीनों में भारत के 9 बाजारों में केवल 83,662 इकाइयों को लॉन्च किया गया था, जो कि 39 फीसदी की गिरावट थी.

आगे राहत की उम्मीद

एलारा टेक्नोलॉजिस के ग्रुप सीईओ ध्रुव अगरवाला ने कहा, 'नए लॉन्चेज की सितंबर तिमाही में गिरावट देखने को मिली, क्योंकि सरकार जारी एनएफबीसी मुद्दे के समाधान की दिशा में आगे बढ़ रही है, यह एक ऐसी समस्या है, जो भारत में रियल एस्टेट डेवलपर्स के लिए वित्त के प्रमुख स्रोत से जुड़ी है. खरीदारों ने आगामी त्योहारी सीजन के कारण अपने प्रॉपर्टी खरीदने के निर्णय को स्थगित कर दिया था, जिससे बिक्री संख्या भी तिमाही के दौरान गिर गई.'

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मुंबई-पुणे में हुए सबसे ज्यादा लॉन्च

जुलाई-सितंबर वित्त वर्ष 19 में लॉन्च की गई 61,679 नई इकाइयों के मुकाबले, इस साल की दूसरी तिमाही में केवल 33,883 नए घरों को लॉन्च किया गया था. इनमें से 41% इकाइयां अफोर्डेबल कैटेगरी में थीं, यानी इकाइयां जिनकी कीमत 45 लाख रुपये या उससे कम है. तिमाही के दौरान पुणे में सबसे अधिक 10,425 इकाइयां लॉन्च की गईं, इसके बाद भारत की वित्तीय राजधानी मुंबई में 8,132 घर लॉन्च हुए.

इस वर्ष सितंबर में समाप्त तिमाही के दौरान कुल 65,799 इकाइयां बेची गईं, जबकि पिछले वर्ष की इसी तिमाही के दौरान यह 88,078 इकाई थी. इस तिमाही के दौरान बेची गईं लगभग आधी इकाइयां अफोर्डेबल सेगमेंट की रही. मुंबई के बाजार में सबसे अधिक 21,985 इकाइयां बेची गईं, इसके बाद पुणे में 13,644 घरों की बिक्री हुई.

तिमाही के दौरान इन्वेंटरी स्टॉक में 13% गिरावट

इस रिपोर्ट के अनुसार एक राहत वाली बात यह है कि शीर्ष बाजारों में अनसोल्ड इन्वेंट्री में 13% y-o-y की गिरावट आई है और इसका मुख्य कारण बिक्री के मुकाबले नए लॉन्च कम होना है. रिपोर्ट के अनुसार सितंबर तक, भारत के 9 बाजारों में बिल्डरों के पास 778,627 इकाइयों के साथ एक अनसोल्ड स्टॉक है. अनसोल्ड इन्वेंट्री का एक बड़ा हिस्सा मुंबई और पुणे के रियल्टी बाजारों में बचा हुआ है.

पजेशन में तेजी की उम्मीद

इस वर्ष अप्रैल से सितंबर के बीच दो लाख से अधिक आवास इकाइयों का पजेशन दिया गया, इस वित्तीय वर्ष के शेष आधे भाग में चार लाख से अधिक नई इकाइयों के पजेशन होने की उम्मीद है. साथ ही 4.52 लाख रेडी-टू-मूव घरों को ऋ21 तक बाजार में शामिल होने की उम्मीद है.

एनालिसिस में शामिल शहर अहमदाबाद, बेंगलुरु, चेन्नई, गुरुग्राम (भिवाड़ी, धारूहेड़ा और सोहना), हैदराबाद, कोलकाता, मुंबई (नवी मुंबई और ठाणे), नोएडा (ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे) और पुणे शामिल हैं. (रियल एस्टेट सेक्टर पर यह रिपोर्ट प्रॉपटाइगर डॉट कॉम की है)

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