पीएफ फर्जीवाड़े की जांच रुकी
पीएफ फर्जीवाड़े की जांच रुकी
कर्मचारियों के भविष्य निधि (पीएफ) का पैसा जालसाजी कर निकालने के मामले में जांच सुस्त पड़ गई है। सेक्टर-24 स्थित क्षेत्रीय भविष्य निधि कार्यालय के पैनल वकील की तरफ से दर्ज कराई गई एफआइआर के बाद पुलिस साक्ष्य मांग रही है। क्षेत्रीय कार्यालय से रितिक इंटर प्राइजेज कंपनी के पीड़ित कर्मचारियों की जानकारी नहीं मिलने से जांच थम गई है। बताया जा रहा है कि क्षेत्रीय कार्यालय के कर्मचारियों ने फंड ट्रांसफर करने के दौरान कर्मचारियों के बैंक व पीएफ खाते का मिलान कराया होता तो यह गड़बड़ी नहीं होती।
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मालूम हो कि पैनल वकील डीके सिंह का कहना है कि रितिक इंटर प्राइजेज कंपनी के 428 कर्मचारियों के पीएफ का करीब 30 लाख रुपये फर्जीवाड़ा कर दूसरे खाते में ट्रांसफर कराया गया है। इस संबंध में कोतवाली सेक्टर-24 में रिपोर्ट दर्ज है। विशेष लेखा परीक्षण अधिकारियों ने रितिक इंटर प्राइजेज कंपनी के कर्मचारियों को मिलने वाले पीएफ की जांच की थी। जांच रिपोर्ट में पाया गया कि कंपनी ने कर्मचारियों के पीएफ का पैसा नियमित रूप से जमा किया है। जालसाजों ने मिली भगत कर कर्मचारियों के पीएफ का पैसा अन्य खाते में ट्रांसफर कराया है। जांच अधिकारी फिरोज अख्तर ने बताया कि 15 दिन पहले ही क्षेत्रीय भविष्य निधि कार्यालय से कर्मचारियों के संबंध में कागजात मांगे गए थे। अभी तक कार्यालय से कागजात नहीं मिल पाए हैं। मंगलवार को भी कागजात मांगे। अधिकारियों ने शीघ्र ही कागजात उपलब्ध कराने का आश्वासन दिया है। जब तक कार्यालय से साक्ष्य नहीं मिलेगा, जांच आगे नहीं बढ़ पाएगी।
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